Varanasi to Ayodhya:-बनारस और अयोध्या भारत के दो बेहद प्राचीन और धार्मिक शहर हैं। दोनों ही जगहें आध्यात्मिकता और संस्कृति का प्रमुख केंद्र हैं। अगर आप बजट में इन जगहों की यात्रा करना चाहते हैं, तो यह गाइड आपके लिए है। आज के आर्टिकल में आपको बताएँगे बनारस में और अयोध्या में ठहरने, घूमने की जगहों और खाने-पीने के बारे में।
Table of Contents
Varanasi to Ayodhya:-बनारस यात्रा का आरंभ
बनारस कैसे पहुंचें?
बनारस भारत के प्रमुख रेलवे स्टेशनों में से एक है। आप यहां ट्रेन, बस या हवाई जहाज के जरिए आसानी से पहुंच सकते हैं। बनारस रेलवे स्टेशन से बाहर निकलते ही आपको ऑटो और टैक्सी की सुविधा मिलेगी, जो सस्ती और सुविधाजनक है।
कहां ठहरें?
गोदौलिया चौराहा बनारस घूमने का सबसे बेहतर केंद्र है। यहां से आपको होटल, धर्मशालाएं और गेस्ट हाउस आसानी से मिल जाते हैं। ठहरने के लिए आप बजट रूम्स भी चुन सकते हैं, जिनमें एसी, टीवी और अटैच बाथरूम जैसी सुविधाएं होती हैं।
यह भी पढ़िए:-PranPratistha क्या होता है कैसे होता है इसकी सम्पूर्ण जानकारी
Varanasi to Ayodhya:-बनारस के प्रमुख स्थान
काशी विश्वनाथ मंदिर के दर्शन
काशी विश्वनाथ मंदिर बनारस का सबसे प्रमुख धार्मिक स्थल है। गेट नंबर 1 से मंदिर परिसर में प्रवेश किया जा सकता है। दर्शन के लिए सुबह 12 बजे का समय सबसे अच्छा माना जाता है, क्योंकि इस समय भीड़ कम होती है। मंदिर के पास आपको चप्पल रखने के लिए काउंटर मिल जाएगा।
मंदिर दर्शन के बाद आप भारत माता मंदिर और काल भैरव मंदिर भी जा सकते हैं। यह माना जाता है कि काशी की यात्रा तब ही पूरी होती है जब आप काल भैरव के दर्शन कर लें।
गंगा घाट और गंगा आरती
बनारस को घाटों का शहर कहा जाता है। यहां के प्रमुख घाटों में दशाश्वमेध घाट, मणिकर्णिका घाट और अस्सी घाट शामिल हैं। गंगा आरती का नजारा दशाश्वमेध घाट से सबसे बेहतरीन होता है। आरती देखने के लिए शाम 5 बजे से पहले घाट पर पहुंच जाएं। आप नाव पर बैठकर भी गंगा आरती का आनंद ले सकते हैं।
मणिकर्णिका घाट और नेपाली मंदिर
यह घाट 24 घंटे जलती चिताओं के लिए प्रसिद्ध है। यहां का नजारा न केवल धार्मिक, बल्कि जीवन और मृत्यु के गहरे अर्थ को दर्शाता है। मणिकर्णिका घाट के पास मौजूद 9 डिग्री झुका हुआ नेपाली मंदिर भी देखने लायक है।
Varanasi to Ayodhya:-अयोध्या यात्रा की शुरुआत
वाराणसी से अयोध्या कैसे जाएं ?
बनारस से अयोध्या की दूरी लगभग तीन घंटे की है। अयोध्या जाने के लिए सुबह की ट्रेन पकड़ें। अयोध्या स्टेशन से बाहर निकलते ही आपको नया घाट जाने के लिए ऑटो मिल जाएंगे।
नया घाट और नागेश्वरनाथ मंदिर
नया घाट पर स्नान करना धार्मिक दृष्टि से जरूरी माना जाता है। स्नान के बाद नागेश्वरनाथ मंदिर के दर्शन अवश्य करें। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और इसे अयोध्या का प्रमुख धार्मिक स्थल माना जाता है।
हनुमानगढ़ी और श्री राम जन्मभूमि
हनुमानगढ़ी मंदिर में दर्शन करने के बाद ही श्री राम जन्मभूमि मंदिर जाना चाहिए। हनुमानगढ़ी मंदिर की लाइन लंबी हो सकती है, लेकिन यह अनुभव भावनात्मक रूप से गहरा होता है। इसके बाद रामलला के दर्शन करना अयोध्या यात्रा का मुख्य आकर्षण है।
यह भी पढ़िए:-Ram mandir ayodhya के कुछ ऐसे तथ्य जिसे सुन के आप चौंक जायेंगे
कनक भवन और राजा दशरथ महल
कनक भवन को माता कैकयी द्वारा सीता जी को मुंह दिखाई के रूप में दिया गया था। राजा दशरथ का महल भी देखने लायक है, जो अयोध्या के समृद्ध इतिहास को दर्शाता है।
Varanasi to Ayodhya:-खाने-पीने और अन्य सुझाव
- बनारस और अयोध्या में शाकाहारी भोजन प्रमुख है। दोनों जगहों पर आपको बजट में भोजनालय मिल जाएंगे, जहां स्वादिष्ट थाली मिलती है।
- अयोध्या में राम रसोई में नि: शुल्क भोजन किया जा सकता है। स्लॉट बुक करने के लिए फॉर्म भरना पड़ता है।
वाराणसी से अयोध्या की यात्रा को सुखद कैसे बनाएं?
- भीड़ से बचने के लिए सुबह जल्दी शुरू करें।
- अपने सामान को सुरक्षित रखने के लिए लॉकर की सुविधा का उपयोग करें।
- अगर आपके साथ बुजुर्ग हैं, तो व्हीलचेयर या इलेक्ट्रिक वाहन की मदद लें।
अंतिम विचार
बनारस और अयोध्या यात्रा आपको आध्यात्मिक शांति और हिंदू संस्कृति को करीब से जानने का मौका देती है। यह दोनों जगहें हमारे इतिहास और परंपराओं का जीवंत उदाहरण हैं। अगर आप धार्मिक और समृद्ध अनुभव चाहते हैं, तो अपनी अगली यात्रा की योजना इन गाइडलाइन्स के साथ बनाएं।
“हर हर महादेव” और “जय श्री राम”!